सिंगाजी परियोजना / कोल कंपनियों ने हाथ खींचे, सारणी प्लांट से बुलाना पड़ रहा कोयला

  • परियोजना की चारों यूनिट से बिजली उत्पादन के लिए अब सारणी की 2 यूनिट बंद कर कोयला लाया जा रहा

  • 4 दिन से बंद थी परियोजना की दूसरी यूनिट, शनिवार शाम किया लाइट-अप

    संत सिंगाजी ताप परियोजना में रविवार से चारों यूनिट से पूरी क्षमता से बिजली उत्पादन किया जा रहा है। के लिए इमेज नतीजेबीड़. संत सिंगाजी ताप परियोजना में कोयला आपूर्ति बाधित है। बकाया राशि को लेकर कोल कंपनियों ने हाथ खींच लिए हैं। परियोजना की चारों यूनिट से बिजली उत्पादन के लिए अब सारणी की दो यूनिट बंद कर कोयला लाया जा रहा है। रोज चार-पांच रैक पहुंच रहे हैं। चार दिन से सिंगाजी परियोजना की दूसरी यूनिट बंद थी। शनिवार शाम इसका लाइट-अप कर दिया है। रविवार को चारों यूनिट से पूरी क्षमता से बिजली उत्पादन किया जा रहा है।


    कोल कंपनियों का एमपीपीजीसीएल का 400 करोड़ रुपए बकाया है। इस कारण कोल कंपनियों ने आपूर्ति काफी कम कर दी है। परियोजना अफसर समझौते के लिए कोल कंपनियों से मिल चुके हैं लेकिन कोई सफलता नहीं मिली। उधर सरकार की परियोजना से 2520 मेगावाट की डिमांड लगातार बनी हुई है। कोयला आपूर्ति के लिए अब एमपीपीजीसीएल ने सारणी प्लांट की दो यूनिट बंद कर कोयला सिंगाजी परियोजना भेजने का निर्णय लिया है। सारणी से कोयला रैक आना भी शुरू हो चुके हैं। चारों यूनिट चलाने के लिए रोज 36 हजार टन कोयले की जरूरत होती है। हालांकि यहां दो लाख टन कोयले का स्टाक बना हुआ है।


    सारणी से 420 मेगावाट कम होगा उत्पादन
    सारणी पॉवर प्लांट से 1330 मेगावाट बिजली उत्पादन किया जा रहा है। कंपनी के निर्णय पर 8 व 9 नंबर यूनिट बंद कर दी गई है। इससे यहां 420 मेगावाट बिजली का उत्पादन कम हो रहा है। इस प्लांट में रोज करीब 12 हजार टन की रोज खपत हो रही है और स्टाक 2.60 लाख टन का है।


    सारणी प्लांट में कोयले का ज्यादा स्टाक है। वहां खपत भी कम है। इसलिए सारणी से कोयला सिंगाजी परियोजना डायवर्ट किया जा रहा है। सिंगाजी में चारों से यूनिट से बिजली उत्पादन किया जाएगा।
    वीके कैलासिया, ईडी सिंगाजी परियोजना