उज्जैन/वनाधिकार दावे प्राप्त करने में लापरवाही बरतने पर कार्यवाही सुनिश्चित की जायेगी -कमिश्नर

    उज्जैन संभाग कमिश्नर श्री अजीत कुमार ने आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से संभाग के सभी जिले के कलेक्टर्स एवं जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को चेतावनी दी कि वे यदि वनाधिकार दावे प्राप्त करने में लापरवाही बरतेंगे या वनाधिकार दावे समय-सीमा में प्राप्त नहीं करेंगे तो कार्यवाही सुनिश्चित की जायेगी। कमिश्नर ने कहा कि स्वयं मुख्यमंत्री श्री कमलनाथ ने वनाधिकार दावे समय पर प्राप्त करने एवं पोर्टल पर समय पर इंट्री करने के निर्देश दिये हैं, ताकि हितग्राहियों को लाभान्वित किया जा सके। उल्लेखनीय है कि वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के दौरान रतलाम कलेक्टर एवं देवास जिला पंचायत की मुख्य कार्यपालन अधिकारी ने दावे आमंत्रित करने में वन विभाग के अधिकारियों द्वारा अपेक्षित सहयोग न मिलने की शिकायत की थी। कमिश्नर ने कहा कि वन विभाग के अधिकारियों को अपेक्षित सहयोग के लिये जिला कलेक्टर निर्देशित करें एवं ग्राम सभा के दौरान आवेदन आमंत्रण के समय वन विभाग के कर्मचारियों की उपस्थिति सुनिश्चित की जाये। साथ ही प्रतिवेदन में वन विभाग के कर्मचारियों के हस्ताक्षर अनिवार्य रूप से लिये जायें।
    कमिश्नर ने सभी कलेक्टर्स को निर्देश दिये कि वे सबडिवीजन एवं जिला स्तरीय समितियों की बैठक लें तथा बैठक का रिकार्ड अपडेट रखें। कमिश्नर ने कहा कि बैठक में एसडीएम को भी अनिवार्य रूप से बुलाया जाये। कमिश्नर ने सभी कलेक्टर्स को निर्देश दिये कि वनाधिकार दावे आमंत्रित करने के लिये एक कैलेण्डर बनाया जाये। साथ ही कैलेण्डर के अनुसार सभी अधिकारी एवं कर्मचारी की उपस्थिति सुनिश्चित की जाये। बताया गया कि 26 जनवरी की विशेष ग्राम सभाओं में दावे प्राप्त किये गये हैं। बताया गया कि मंदसौर में 384 दावे प्राप्त हुए थे, जिनमें 120 दावे जांच करने पर सही पाये गये। नीमच में 188 आवेदनों का पंजीयन किया गया। साथ ही सभी 188 आवेदनों का सत्यापन किया गया है। आगर-मालवा में 41 आवेदन कार्यवाही हेतु पात्र पाये गये। उज्जैन में 137 आवेदन अपात्र पाये गये हैं, जिनमें बाकी प्राप्त आवेदनों में शीघ्र ही कार्यवाही की जानी है। देवास में 1800 आवेदनों में स्थल निरीक्षण किया जा चुका है।
    कमिश्नर ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से आरसीएमएस, स्वच्छ भारत मिशन, गेहूं उपार्जन, सीएम हेल्पलाइन में प्राप्त आवेदनों की समीक्षा की। उन्होंने जनसुनवाई के सम्बन्ध में सभी कलेक्टर्स को निर्देशित किया कि वे जनसुनवाई में प्राप्त आवेदनों का निराकरण गंभीरता से करें, ताकि हितग्राहियों को अपने कार्य कराने के लिये संभाग में अनावश्यक रूप से न आना पड़े। उन्होंने कहा कि अगली बार जनसुनवाई की भी समीक्षा की जायेगी।
    जिले के एनआईसी कक्ष में कलेक्टर श्री शशांक मिश्र, अपर कलेक्टर श्रीमती बिदिशा मुखर्जी, जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री नीलेश पारिख सहित सम्बन्धित अधिकारीगण उपस्थित थे।