प्रियंका गांधी को मध्यप्रदेश से राज्यसभा में भेजने का विचार, अप्रैल में 3 सीटें खाली होंगी; दिग्विजय और सिंधिया भी दावेदार

प्रियंका गांधी के लिए इमेज नतीजेभोपाल/नई दिल्ली . राज्यसभा में संख्या बल के लिहाज से इस साल विपक्ष की ताकत कम हो सकती है। इस साल के आखिर तक 68 सीटें खाली हो रही हैं, जिनके चुनाव में कांग्रेस कई सीटें गंवा सकती है। प्रियंका गांधी वाड्रा, ज्योतिरादित्य सिंधिया समेत कई दिग्गजों को राज्यसभा में लाने की अटकले तेज हो गई है। इधर, मप्र में प्रियंका गांधी को राज्य कोटे से राज्य सभा में भेजने की मांग उठने लगी है। इस बारे में मुख्यमंत्री कमलनाथ से भी दिल्ली यात्रा के दौरान कांग्रेस नेताओं ने उनसे बात की है। रविवार को लोक निर्माण मंत्री सज्जन सिंह वर्मा ने प्रियंका गांधी को मप्र से राज्यसभा से भेजे जाने की मांग की है। वर्मा ने कहा कि मप्र में  अनुसूचित जाति-जनजाति का बाहुल्य है और यह वर्ग हमेशा गांधी परिवार की पसंद रहा है।


इसलिए प्रियंका को यहीं से राज्यसभा में भेजा जाना चाहिए...



  • वर्मा ने कहा कि एक बात यह भी है कि इंदिरा गांधी कमलनाथ को छिंदवाड़ा लेकर आई थी, अब कमलनाथ मुख्यमंत्री हैं तो उन्हें प्रियंका को मध्यप्रदेश लाना चाहिए। इससे प्रदेश की जनता की ताकत बढ़ेगी।

  • मप्र से 9 अप्रैल को राज्यसभा की तीन सीटें खाली होगी। कांग्रेस के दिग्विजय सिंह और भाजपा के प्रभात झा और सत्यनारायण जटिया का कार्यकाल पूरा हो रहा है। 

  • वर्तमान में विधानसभा के संख्याबल के हिसाब से दो सीटें कांग्रेस और एक भाजपा के पास जाएगी। नामांकन की प्रक्रिया पांच मार्च से शुरू होगी।


सूत्रों ने बताया कि कई राज्यों में कम होती ताकत के कारण कांग्रेस सदन में 19 में से 9 सीटें गंवा सकती है। कांग्रेस को उम्मीद है कि वह 9 सीटों को कायम रख पाएगी, जबकि गठबंधन दलों के सहारे वह एक-दो सीटें और बचा लेगी। पार्टी को छत्तीसगढ़, महाराष्ट्र, राजस्थान और मध्य प्रदेश में सरकार होने के कारण फायदा होने की उम्मीद है। बता दें कि अप्रैल में 51 राज्यसभा सीटें खाली हो रही हैं। जून में पांच सीटें खाली हो जाएगी। इसके बाद जुलाई में भी 1 सीट, जबकि नवंबर में 11 रिक्त हो जाएंगी।